दरिद्रता नाशक मंत्र | daridrata nashak Mantra : दोस्तों क्या आपके घर में हमेशा दरिद्रता बनी रहती हैं आप अपनी दरिद्रता को लेकर परेशान रहते हैं आर्थिक तंगी से जीते हैं तो हम आपको अपने इस आर्टिकल के माध्यम से वेदों में वर्णित कई ऐसे दरिद्रता नाशक मंत्र के बारे में बताएंगे जिनका विधिवत पालन करने से दरिद्रता हमेशा के लिए समाप्त हो जाती है।
सबसे खास बात यह है कि यह दरिद्रता नाशक मंत्र ऐसे मंत्र हैं जो आप स्वयं ना करके दूसरों के माध्यम से भी करवा सकते हैं व्यक्ति के जीवन में दरिद्रता तभी आती है जब उसका दुर्भाग्य होता है कहीं ना कहीं उसके कर्मों का फल दरिद्रता के लिए प्रेरित करता है। इसीलिए अपनी दरिद्रता को दूर करने के लिए इन महा प्रयोगों को करना जरूरी है।
हमारे वेद शास्त्र और धर्म शास्त्र ऐसे अनमोल रत्न है जिनमें तमाम तरह उपाय वर्णित है जिनका प्रयोग में लाने मात्र से संपूर्ण समाधान मिलता है। यह सभी प्रयोग हमारी दुर्भाग्य को दूर कर देते हैं और जीवन में बनी हुई दरिद्रता को सदा के लिए समाप्त कर देते हैं।
- 1. दरिद्रता नाशक मंत्र | daridrta nashak Mantra
- 2. महालक्ष्मी जी का दरिद्रता नाशक मंत्र | Mahalaxmi ji ka daridrata nashak Mantra
- 3. महालक्ष्मी जी के 11 दरिद्रता नाशक मंत्र | Lakshmi Ji ke 11 daridrata nashak Mantra
- 4. लक्ष्मी जी के दरिद्रता नाशक मंत्र जाप करने की विधि | Lakshmi Ji ke daridrata nashak Mantra ka Jaap karne ki vidhi
- 5. हनुमान जी का दरिद्रता नाशक मंत्र | Hanuman ji ka daridrata nashak Mantra
- 6. दरिद्रता नाशक स्तोत्र | Daridrata nashak strot
- 6.1. फल-श्रुतिः
- 7. दरिद्रता नाशक कुबेर मंत्र | Daridrata nashak Kuber mantra
- 7.1. 1. पहला मंत्र
- 7.2. 2. दूसरा मंत्र
- 7.3. 3. तीसरा मंत्र
- 8. दरिद्रता नाशक शिव स्त्रोत | Daridrata nashak Shiv stotra
- 9. FAQ : दरिद्रता नाशक मंत्र
- 9.1. दरिद्रता नाशक दुर्गा मंत्र क्या है?
- 9.2. दरिद्रता क्यों आती है?
- 9.3. दरिद्रता नाशक शिव मंत्र क्या है?
- 10. निष्कर्ष
दरिद्रता नाशक मंत्र | daridrta nashak Mantra
शास्त्र कहते हैं कि जब आदमी का काम आदमी नहीं कर सकता है तो ईश्वर हमेशा उसके कार्य को करने के लिए खड़ा रहता है केवल इंसान को उस परमात्मा का ध्यान करना चाहिए और उसकी सेवा में अपना जीवन अर्पण करना चाहिए जिससे किसी भी प्रकार की कभी भी कोई समस्या हमारे सामने नहीं आती है।
ऐसे में दुर्भाग्य से हम अपने जीवन में तमाम तरह के कष्टों को प्राप्त करते हैं हमारी पूर्व जन्म के कर्म सभी प्रकार के फल देते हैं अगर हमारे घर में दरिद्रता है हमेशा परेशान रहते हैं तो अपने दुर्भाग्य को बदलने और दरिद्रता को नष्ट करने के लिए दरिद्रता नाशक मंत्र का जाप करें और जीवन को सफल बना सकते हैं जिससे धन की समस्या नहीं आएगी।
हिंदू सनातन धर्म में 33 कोर्ट के देवता पूजनीय जिसमें धन के देवता कुबेर और धन की देवी लक्ष्मी जी की आराधना करने मात्र से दरिद्रता समाप्त हो जाती है इसके अलावा हम अन्य किसी भी देवी – देवता की पूजा करते हैं तो हमारे जीवन में दरिद्रता के साथ-साथ अन्य कई संकट दूर हो जाते हैं आइए हम आपको दरिद्रता नाशक मंत्रों के बारे में बताते हैं।
नमस्तेस्तु महामाये श्रीपीठे सुरपूजिते।
शङ्खचक्रगदाहस्ते महालक्ष्मि नमोस्तुते।
नमस्ते गरुडारूढे कोलासुरभयङ्करि।
सर्वपापहरे देवि महालक्ष्मि नमोस्तुते।।
महालक्ष्मी जी का दरिद्रता नाशक मंत्र | Mahalaxmi ji ka daridrata nashak Mantra
दोस्तों अगर आपके हाथ में धन नहीं रुकता है आप परेशान रहते हैं तो महालक्ष्मी जी के इन दरिद्रता नाशक मंत्र का जाप करें और जीवन में दरिद्रता तथा अन्य कष्ट को दूर करें ध्यान रहे कि इन मंत्रों को हमेशा शुद्ध और पवित्र मंत्र के साथ जाप करें।
मां लक्ष्मी जी की दरिद्रता नाशक मंत्र को हमेशा रात्रि के 9:00 बजे सोमवार के दिन से प्रारंभ करें और किसी भी प्रकार के कर्ज से मुक्ति प्राप्त कर सकते हैं धन की प्राप्ति कर सकते हैं क्योंकि महालक्ष्मी जी के लिए मंत्र महा कल्याणकारी है।
नमस्तेस्तु महामाये श्रीपीठे सुरपूजिते।
शङ्खचक्रगदाहस्ते महालक्ष्मि नमोस्तुते।।
महालक्ष्मी जी के 11 दरिद्रता नाशक मंत्र | Lakshmi Ji ke 11 daridrata nashak Mantra
ॐ श्रीं ह्रीं श्रीं कमले कमलालये प्रसीद प्रसीद ॐ श्रीं ह्रीं श्रीं महालक्ष्मयै नम:
ॐ ह्रीं श्रीं लक्ष्मीभयो नमः
ॐ श्रीं महालक्ष्मै नमः
ॐ श्रीं ह्रीं श्रीं महालक्ष्मै नमः ||
ॐ ह्रीं श्रीं क्लीं महालक्ष्मै नमः ||
ॐ श्री लक्ष्मी नारायणाभ्याम् नमः ||
ॐ श्री महालक्ष्म्यै च विद्महे विष्णु पत्न्यै च धीमहि तन्नो लक्ष्मी प्रचोदयात् ॐ ||
ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं श्री सिद्ध लक्ष्म्यै नम: ||
ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं त्रिभुवन महालक्ष्म्यै अस्मांक दारिद्र्य नाशय प्रचुर धन देहि देहि क्लीं ह्रीं श्रीं ॐ
ॐ श्रीं श्रीय नमः ||
ॐ आं ह्रीं क्रौं श्री श्रिये नम: ममा लक्ष्मी नाश्य-नाश्य मामृणोत्तीर्ण कुरु-कुरु सम्पदं वर्धय-वर्धय स्वाहा: ||
लक्ष्मी जी के दरिद्रता नाशक मंत्र जाप करने की विधि | Lakshmi Ji ke daridrata nashak Mantra ka Jaap karne ki vidhi
लक्ष्मी जी के इन मंत्रों को जॉब करने के लिए एक लाल रंग के आसन पर कुशा का आसन बिछाए और उसके बाद शिव जी की प्रतिमा स्थापित करें।
एक मिट्टी का दीपक लेकर उसमें लगभग ढाई सौ ग्राम घी भरे तथा रुई की बत्ती से दीप प्रज्वलित करके एक चंदन की धूपबत्ती जलाएं इसके बाद एक कटोरा जल में लेकर 11 काले हकीक एक अष्टधातु का श्री यंत्र और 11 गोमती चक्र रखकर जल में रोली मिला लें इन मंत्रों का जाप करे।
महालक्ष्मी जी के मंत्रों का जाप करने से पहले भगवान गणेश और अपनी कुलदेवी को नमन करते हैं एक माला गुरु मंत्र के जाप करें अगर गुरु मंत्र नहीं पता है तो आप ओम नमः शिवाय मंत्र का रुद्राक्ष की माला के साथ 11 बार जाप करें।
उसके बाद नीचे दिए गए मंत्रों को विधिवत नियम अनुसार जाप करें या करवाएं।
नमस्तेस्तु महामाये श्रीपीठे सुरपूजिते।
शङ्खचक्रगदाहस्ते महालक्ष्मि नमोस्तुते।।
उपरोक्त मंत्र को जाप करने के बाद 9 माला के साथ नीचे दिए गए मंत्र का जाप करें
नमस्ते गरुडारूढे कोलासुरभयङ्करि।
सर्वपापहरे देवि महालक्ष्मि नमोस्तुते।।
इस मंत्र का जाप करने के बाद नीचे दिए गए मंत्र को पांच माला जाप करें।
सर्वज्ञे सर्ववरदे सर्वदुष्टभयङ्करि।
सर्वदुःखहरे देवि महालक्ष्मि नमोस्तुते।।
इस मंत्र के जाप करने के बाद नीचे दिए गए मंत्र को तीन माला के साथ जाप करें
सिद्धिबुद्धिप्रदे देवि भुक्तिमुक्तिप्रदायिनि।
मंत्रपूते सदा देवि महालक्ष्मि नमोस्तुते ।
उपरोक्त मंत्र जाप करने के बाद नीचे दिए गए मंत्र को एक माला जाप करें।
अतीतः पंथानं तव च महिमा वाङ्मनसयोः।
अतद्व्यावृत्त्या यं चकितमभिधत्ते श्रुतिरपि।।
स कस्य स्तोत्रव्यः कतिविधगुणः कस्य विषयः।
पदे त्वर्वाचीने पतति न मनः कस्य न वचः।।
उपरोक्त मंत्रों के जाप करने और पूजा के बाद एक गुलाब का पुष्प भगवान शिवजी को अर्पित करते हुए मां लक्ष्मी को प्रणाम करें तथा 11 दिन तक लगातार नियम से मां लक्ष्मी की पूजा करते हुए 11 फूल और जो सामग्री आपने अपने पास रखी है सभी को लेकर एक लाल रंग के वस्त्र में बांधकर अपनी तिजोरी या धन रखने के स्थान पर रखें।
इस प्रकार से महालक्ष्मी जी के मंत्रों का जाप और उच्चारण करवाने से या करने से 6 माह के अंदर जीवन में बनी हुई दरिद्रता समाप्त होकर सुधर जाएगी । यह दरिद्रता नाशक मंत्र जाप अगर आप स्वयं नहीं कर पा रहे हैं तो किसी योग्य ब्राह्मण के द्वारा घर पर करवा सकते हैं।
हनुमान जी का दरिद्रता नाशक मंत्र | Hanuman ji ka daridrata nashak Mantra
दोस्तों हनुमान जी को संकटमोचक कहा जाता है ऐसे में हनुमान जी की पूजा आराधना करने से सभी प्रकार की ढेर तथा नष्ट हो जाती है जब कोई व्यक्ति अपने कर्मों से विमुख हो जाता है तो दरिद्रता आना निश्चित है इसके अलावा घर में दरिद्रता तब आती है जब घर में चारों तरफ से नकारात्मक शक्तियां या ऊर्जा प्रभावी हो जाती हैं।
अगर आप चाहते हैं कि किसी भी प्रकार की दरिद्रता घर में ना रहे घर परिवार सुख समृद्धि से भरपूर रहे तो इसके लिए अपने चारों तरफ शुद्ध वातावरण बनाएं और हनुमान जी के दरिद्रता नाशक मंत्र का जाप करें। यह हनुमान जी के सबसे शक्तिशाली दरिद्रता नाशक मंत्र है।
हनुमान जी के इन दरिद्रता नाशक शक्तिशाली मंत्रों को श्रद्धा के साथ प्रतिदिन 21 बार जाप करें। मंत्र किस प्रकार से हैं।
हनुमान जी के दर्शन औसत मंत्रों को जाप करने के लिए आपको दक्षिण दिशा में मुंह करके हनुमान जी की एक प्रतिमा लगाकर उनके माथे पर चंदन का तिलक लगाएं और सरसों के तेल का दीपक जलाकर अगरबत्ती जलाएं तथा नीचे दिए गए मंत्रों को 108 बार जाप करें।
ॐ महाबलाय वीराय चिरंजिवीन उद्दते।
हारिणे वज्र देहाय चोलंग्घितमहाव्यये।।
ॐ पिंगाक्षाय नमः
दरिद्रता नाशक स्तोत्र | Daridrata nashak strot
दोस्तों दरिद्रता नाशक स्त्रोत शांडिल्य ने एक दरिद्र पुत्र की माता के लिए कहा कि जो प्रदोष काल में भगवान शिव की पूजा करता है उसके जीवन में कभी किसी भी प्रकार की कोई दरिद्रता की कमी नहीं रहती हैं। इसीलिए नीचे दिए जा रहे स्त्रोत को प्रतिदिन तीन बार जाप करने से व्यक्ति के जीवन में दरिद्रता समाप्त हो जाती है।अगर आपको दरिद्रता का सामना करना पड़ रहा है तो आप नीचे दिए गए दरिद्रता नाशक स्त्रोत का भी जाप कर सकते हैं।
जय देव जगन्नाथ, जय शंकर शाश्वत।
जय सर्व-सुराध्यक्ष, जय सर्व-सुरार्चित ! ।।
जय सर्व-गुणातीत, जय सर्व-वर-प्रद !
जय नित्य-निराधार, जय विश्वम्भराव्यय ! ।।
जय विश्वैक-वेद्येश, जय नागेन्द्र-भूषण !
जय गौरी-पते शम्भो, जय चन्द्रार्ध-शेखर ! ।।
जय कोट्यर्क-संकाश, जयानन्त-गुणाश्रय !
जय रुद्र-विरुपाक्ष, जय चिन्त्य-निरञ्जन ! ।।
जय नाथ कृपा-सिन्धो, जय भक्तार्त्ति-भञ्जन !
जय दुस्तर-संसार-सागरोत्तारण-प्रभो ! ।।
प्रसीद मे महा-भाग, संसारार्त्तस्य खिद्यतः।
सर्व-पाप-भयं हृत्वा, रक्ष मां परमेश्वर ! ।।
महा-दारिद्रय-मग्नस्य, महा-पाप-हृतस्य च।
महा-शोक-विनष्टस्य, महा-रोगातुरस्य च।।
ऋणभार-परीत्तस्य, दह्यमानस्य कर्मभिः।
ग्रहैः प्रपीड्यमानस्य, प्रसीद मम शंकर ! ।।
फल-श्रुतिः
दारिद्रयः प्रार्थयेदेवं, पूजान्ते गिरिजा-पतिम्।
अर्थाढ्यो वापि राजा वा, प्रार्थयेद् देवमीश्वरम्।।
दीर्घमायुः सदाऽऽरोग्यं, कोष-वृद्धिर्बलोन्नतिः।
ममास्तु नित्यमानन्दः, प्रसादात् तव शंकर ! ।।
शत्रवः संक्षयं यान्तु, प्रसीदन्तु मम गुहाः।
नश्यन्तु दस्यवः राष्ट्रे, जनाः सन्तुं निरापदाः।।
दुर्भिक्षमरि-सन्तापाः, शमं यान्तु मही-तले।
सर्व-शस्य समृद्धिनां, भूयात् सुख-मया दिशः।
दरिद्रता नाशक कुबेर मंत्र | Daridrata nashak Kuber mantra
दोस्तों भगवान कुबेर को धन का देवता माना जाता है इसीलिए अगर कुबेर जी की आराधना की जाती है तो जीवन में धन की कमी नहीं रहेगी आइए कुछ दरिद्रता नाशक कुबेर मंत्र के बारे में बताते हैं जो इस प्रकार से है।
1. पहला मंत्र
ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं श्रीं क्लीं वित्तेश्वराय नमः॥
धन की प्राप्ति और आर्थिक तंगी को दूर करने के लिए भगवान कुबेर के इस दरिद्रता नाशक मंत्र को नियमित जाप करने से सभी प्रकार से सुख सुविधाएं प्राप्त हो जाती हैं
2. दूसरा मंत्र
ॐ यक्षाय कुबेराय वैश्रवणाय धनधान्याधिपतये धनधान्यसमृद्धिं मे देहि दापय स्वाहा॥
उपरोक्त दरिद्रता नाशक मंत्र कुबेर जी का है यह 35 अक्षर का दरिद्रता नाशक मंत्र प्रतिदिन 3 महीने जाप करने से व्यक्ति को धन धन की कमी नहीं रहती । इस मंत्र को दक्षिण की दिशा में बैठकर धनलक्ष्मी कौड़ी लेकर 108 बार जाप करें।
3. तीसरा मंत्र
ॐ ह्रीं श्रीं क्रीं श्रीं कुबेराय अष्ट-लक्ष्मी मम गृहे धनं पुरय पुरय नमः॥
यह अष्ट महा लक्ष्मी और कुबेर जी का मंत्र है इस मंत्र को शुक्रवार की रात सच्ची श्रद्धा के साथ जाप करना चाहिए। इस मंत्र के जाप करने से व्यक्ति को ऐश्वर्य पद प्रतिष्ठा सौभाग्य की प्राप्ति होती हैं और जीवन में आ रही दरिद्रता भी दूर हो जाती है।
दरिद्रता नाशक शिव स्त्रोत | Daridrata nashak Shiv stotra
विश्वेश्वराय नरकार्णव तारणाय
कणामृताय शशिशेखरधारणाय ।
कर्पूरकान्तिधवलाय जटाधराय
दारिद्र्य दुःखदहनाय नमः शिवाय ॥१॥गौरीप्रियाय रजनीशकलाधराय
कालान्तकाय भुजगाधिपकङ्कणाय ।
गंगाधराय गजराजविमर्दनाय
दारिद्र्य दुःखदहनाय नमः शिवाय ॥२॥भक्तिप्रियाय भवरोगभयापहाय
उग्राय दुर्गभवसागरतारणाय ।
ज्योतिर्मयाय गुणनामसुनृत्यकाय
दारिद्र्य दुःखदहनाय नमः शिवाय ॥३॥चर्मम्बराय शवभस्मविलेपनाय
भालेक्षणाय मणिकुण्डलमण्डिताय ।
मंझीरपादयुगलाय जटाधराय
दारिद्र्य दुःखदहनाय नमः शिवाय ॥४॥पञ्चाननाय फणिराजविभूषणाय
हेमांशुकाय भुवनत्रयमण्डिताय ।
आनन्दभूमिवरदाय तमोमयाय
दारिद्र्य दुःखदहनाय नमः शिवाय ॥५॥भानुप्रियाय भवसागरतारणाय
कालान्तकाय कमलासनपूजिताय ।
नेत्रत्रयाय शुभलक्षण लक्षिताय
दारिद्र्य दुःखदहनाय नमः शिवाय ॥६॥रामप्रियाय रघुनाथवरप्रदाय
नागप्रियाय नरकार्णवतारणाय ।
पुण्येषु पुण्यभरिताय सुरार्चिताय
दारिद्र्य दुःखदहनाय नमः शिवाय ॥७॥मुक्तेश्वराय फलदाय गणेश्वराय
गीतप्रियाय वृषभेश्वरवाहनाय ।
मातङ्गचर्मवसनाय महेश्वराय
दारिद्र्य दुःखदहनाय नमः शिवाय ॥८॥वसिष्ठेन कृतं स्तोत्रं सर्वरोगनिवारणं ।
सर्वसंपत्करं शीघ्रं पुत्रपौत्रादिवर्धनम् ।
त्रिसंध्यं यः पठेन्नित्यं स हि स्वर्गमवाप्नुयात् ॥
FAQ : दरिद्रता नाशक मंत्र
दरिद्रता नाशक दुर्गा मंत्र क्या है?
दरिद्रता क्यों आती है?
दरिद्रता नाशक शिव मंत्र क्या है?
मन्दारमालाङ्कुलितालकायै कपालमालांकितशेखराय। दिव्याम्बरायै च दिगम्बराय नम: शिवायै च नम: शिवाय।। श्री अखण्डानन्दबोधाय शोकसन्तापहारिणे। सच्चिदानन्दस्वरूपाय शंकराय नमो नम:॥
निष्कर्ष
दोस्तों जीवन में दरिद्रता तभी आती है जब हम कर्म हीन हो जाते हैं शास्त्रों के अनुसार कर्म करने वाले व्यक्ति के जीवन में कभी किसी भी प्रकार की दरिद्रता नहीं आएगी ऐसे में अगर आपको अपनी दरिद्रता को दूर करना है तो आप किसी भी देवी देवता की दरिद्रता नाशक मंत्र का जाप कर सकते हैं।
महत्वपूर्ण बात यह है कि मनुष्य को अपने कर्मों के माध्यम से और ईश्वर आराधना से विमुख नहीं होना चाहिए क्योंकि आपके कर्म और ईश्वर आराधना आपके जीवन में हमेशा सफलता की ओर ले जाती है।