A naam ki rashi | ए नाम की राशि : हेलो मित्रों नमस्कार आज के इस लेख में हम बात करने वाले हैं ए नाम की राशि के विषय पर, यानि कि अगर आपका नाम ए अछर से शुरू होता है तो आपकी क्या राशि होगी और आपकी राशि के प्रमुख स्वामी कौन होंगे.
क्योंकि हमारे जीवन में हमारे नाम की राशि का विशेष महत्व होता है ऐसा इसलिए क्योंकि राशि के अनुसार ही हमारे जीवन में सुख दुःख आते हैं यहां तक की राशि के अनुसार ही हर एक शुभ कार्य किए जाते हैं.
आप लोगों ने देखा होगा जब हिंदू धर्म में किसी का विवाह तय किया जाता हैं तो राशि के अनुसार ही विवाह के लिए शुभ मूहर्त निकाला जाता हैं, अगर राशि के अनुसार कोई शुभ मुहूर्त नहीं निकलता तो उस विवाह को रोक दिया जाता हैं. इसीलिए हर किसी को अपनी राशि की जानकारी होनी चाहिए.
ऐसे में अगर आप नाम ए अछर से शुरु होता है और आप को अपने नाम के अनुसार अपनी राशि की जानकारी नहीं है तो यह लेख आप लोगों के लिए उपयोगी हो सकता हैं. तो दोस्तों आइए जानते हैं ए नाम की राशि क्या होगी.
- 1. A naam ki rashi | ए नाम की राशि
- 1.1. 1. ए नाम राशि (मेष राशि) के इष्ट देवता
- 1.2. 2. ए नाम राशि (मेष राशि) का प्रतीक चिन्ह
- 1.3. 3. ए नाम राशि (मेष राशि )के अंतर्गत आने वाले अक्षर
- 2. मेष राशि का शुभ रंग | Mesh rashi ka shubh rang
- 3. मेष राशि के शुभ अंक | Mesh rashi ke shubh ank
- 4. मेष राशि का शुभ रत्न | Mesh rashi ka shubh ratan
- 5. मेष राशि का शुभ धातु | Mesh rashi ka shubh dhatu
- 6. मेष राशि के लिए कार्य क्षेत्र | Mesh rashi ke liye karya kshetr
- 7. मेष राशि की मित्र राशियां | Mesh rashi ki mitra rashiya
- 8. मेष राशि की शुभ दिशा | Mesh rashi ki shubh disha
- 9. मेष राशि की शत्रु राशियां | Mesh rashi ki shatru rashiya
- 10. FAQ : ए नाम की राशि
- 10.1. मेष राशि की कमजोरी क्या है?
- 10.2. मेष राशि को कुण्डली में ग्रह की स्थिति मजबूत बनाने के लिए क्या करना चाहिए?
- 10.3. मेष राशि प्यार में कैसे होते है?
- 11. निष्कर्ष
A naam ki rashi | ए नाम की राशि
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार जिस जातक जातिका के नाम ए अक्षर से प्रारंभ होता है तो उन लोगों की मेष राशि होती है जिनके प्रमुख स्वामी मंगल ग्रह को माना गया है जो साहस, शक्ति, परिश्रम आदि का कारक ग्रह माना जाता है.
1. ए नाम राशि (मेष राशि) के इष्ट देवता
ज्योतिष शास्त्र में सूर्य देव को मेष राशि का इष्ट देवता बताया गया है क्योंकि सूर्य देव मंगल ग्रह के सबसे प्रिय मित्र हैं इसीलिए मेष राशि के लोग सूर्य देव या फिर विष्णु भगवान को अपना इष्ट देवता मान सकते हैं.
2. ए नाम राशि (मेष राशि) का प्रतीक चिन्ह
ज्योतिष शास्त्र में मेष राशि का प्रतीक चिन्ह भेड़ के सिर को माना गया है जो मेष राशि की पहचान को दर्शाता है.
3. ए नाम राशि (मेष राशि )के अंतर्गत आने वाले अक्षर
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार जिन लोगों के नाम का पहला अक्षर “आ, चे, चो, चू, ला, ले, लो, लू, ली” जैसे अक्षरो से प्रारंभ होता है उन लोगों की मेष राशि होती हैं.
मेष राशि का शुभ रंग | Mesh rashi ka shubh rang
ज्योतिष शास्त्र में मेष राशि के लिए लाल रंग सबसे ज्यादा शुभ माना गया हैं क्योंकि लाल रंग मंगल ग्रह का प्रतिनिधित्व करता है इसीलिए यह रंग मेष राशि के जातक जातिका के जीवन को कुंडली में ग्रह की स्थिति के अनुसार प्रभावित करता है.
मेष राशि के शुभ अंक | Mesh rashi ke shubh ank
ज्योतिष शास्त्र में मेष राशि के लिए 9 अंक सबसे शुभ माना है 9 अंक की श्रंखला के अंतर्गत , 9, 18, 27, 36, 45, 54, 63, 72… अंको की संख्या भी शामिल है, जो मेष राशि के जातक जतिका के भाग्य उदय के लिए विशेष रूप से फलदायक है.
मेष राशि का शुभ रत्न | Mesh rashi ka shubh ratan
रत्न शास्त्र में हर राशि और उस राशि के प्रमुख स्वामी को ध्यान में रखकर 12 राशियों के लिए 9 प्रकार के रत्नों का निर्माण किया गया है. जिनको लेकर रत्न विज्ञान का कहना है कि अपनी राशि के अनुसार रत्न धारण करने से कुंडली में ग्रह की स्थिति मजबूत बनती है जिससे जीवन में सुख शांति समृद्धि आती है.
दोस्तों जैसा कि हमने आपको लेख में बताया है कि मेष राशि का स्वामी मंगल है इसीलिए इस राशि के जातकों के लिए सबसे भाग्यशाली रत्न हीरा होता है हीरा रत्न धारण करने से मेष राशि के जातकों को बहुत लाभ प्राप्त होता है इसके अलावा इस राशि के पुखराज, बैरुज, ब्लडस्टोन, नीलम और सूर्यकांत मणि रत्न में भी धारण कर सकते हैं.
रत्न विज्ञान में मेष राशि के लिए मूंगा रत्न जीवन में खुशियां लाने के लिए शुभ बताया गया है, क्योंकि मूंगा रत्न को मंगल ग्रह से जोड़ा गया है इसीलिए यह रत्न मेष राशि के लोगों के लिए विशेष फलदाई है.
मेष राशि का शुभ धातु | Mesh rashi ka shubh dhatu
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार मेष राशि के लिए चांदी या तांबे की धातु शुभ बताई गई है अगर मेष राशि के जातक जातिका चांदी या तांबे की किसी भी धातु को धारण करते हैं,तो सबसे पहले उस धातु का पंचतत्व से शुद्धीकरण कर ले उसके पश्चात धारण करें तो आपके स्वास्थ्य के लिए वह धातु विशेष रूप से फलदाई साबित होगी.
मेष राशि के लिए कार्य क्षेत्र | Mesh rashi ke liye karya kshetr
मेष राशि की मित्र राशियां | Mesh rashi ki mitra rashiya
ज्योतिष शास्त्र में मेष राशि की मित्र राशियों में कुंभ राशि ,सिंह राशि, धनु राशि, मकर राशि को बताया गया है क्योंकि इन राशियो के जातक जातिका के गुण और मेष राशि के जातक जातिका के गुण आपस में मेल खाते हैं. इसीलिए इन राशियों के जातक जाति का मेष राशि के जातक जातिकाओं के मित्र होते हैं.
मेष राशि की शुभ दिशा | Mesh rashi ki shubh disha
मेष राशि के प्रमुख स्वामी मंगल ग्रह को माना गया है, जिनकी शुभ दिशा दक्षिण मानी गई है , ऐसे में मेष राशि के जातक जातिका के लिए दक्षिण दिशा ही शुभ मानी गई है. अगर आप लोग अपने घर के दक्षिण दिशा में जरूरतमंद चीजों को रखते हैं तो आपको उन चीजों में लाभ प्राप्त होगा जैसे तिजोरी, सोना, चांदी या फिर इस दिशा में कोई भी कार्य की शुरुआत करने से उसमें सफलता प्राप्त होगी.
मेष राशि की शत्रु राशियां | Mesh rashi ki shatru rashiya
मेष राशि वालों के लिए कर्क और वृश्चिक राशि शत्रु राशियां मानी गई है क्योंकि इन दोनों राशियों के ग्रहों के बीच शत्रुता होती है इसीलिए इस राशि के जातक जातिका मेष राशि के लिए शुभ नहीं माने गए हैं.
FAQ : ए नाम की राशि
मेष राशि की कमजोरी क्या है?
मेष राशि को कुण्डली में ग्रह की स्थिति मजबूत बनाने के लिए क्या करना चाहिए?
मेष राशि प्यार में कैसे होते है?
निष्कर्ष
तो मित्रों जैसा कि आज हमने इस आर्टिकल के माध्यम से ए नाम की राशि टॉपिक से संबंधित विशेष जानकारी पहुंचाने की पूरी कोशिश की है. जिसमें मैंने ज्योतिष शास्त्र के हिसाब से ए नाम की मेष राशि के विषय में सारी जानकारी क्रम वाइज से बताई है.
अगर आप लोगों ने इस लेख को शुरू से अंत तक पढ़ा होगा तो आप लोगों को ए नाम की क्या राशि होगी इस जानकारी के साथ साथ ए नाम राशि के विषय में अन्य विशेष जानकारी भी प्राप्त हो गई होगी. तो मित्रों हम उम्मीद करते हैं आप लोगों को हमारे द्वारा बताई गई जानकारी पसंद आई होगी साथ में उपयोगी भी साबित हुई होगी.